अगर आप किसी सफल व्यक्ति, खिलाड़ी या उद्यमी से बात करेंगे तो वे उनके जीवन में आर्इं चुनौतियों के बारे में बात करेंगे न कि समस्याओं के बारे में। क्योंकि सफलता के शिखर पर पहुंचने वाला कोई भी व्यक्ति अपनी समस्याओं को नहीं देखता है बल्कि उस समस्या से मिली चुनौतियों को देखता है और उस चुनौती से सीखने, आगे बढ़ने और खुद में बदलाव के अवसर के रूप में लेता है।

समस्याओं को अवसर के रूप में देखने के कई फायदे हैं। इनमें से सबसे पहला तो यही है कि नजरिए के साथ हमारी सोच भी बदलती है। समस्या में हमें तनाव होता है और अवसर में आगे बढ़ने की प्रेरणा देता है। समस्या आते ही हमारा दिमाग उसके बारे में तेजी से सोचने लगता है और विश्लेषण करता है जिससे गलती की आशंका बढ़ जाती है।

हालांकि हर समस्या में अवसर खोजने की प्रवृत्ति के लिए आपको अपने दिमाग को प्रशिक्षित करना होगा। यह आसान नहीं है लेकिन नामुमकिन भी नहीं है। सबसे पहले तो आपका यह जानना जरूरी है कि जीवन से समस्याओं को पूरी तरह से खत्म कर देना मुमकिन नहीं है। जीवन है तो समस्या भी रहेंगी ही। ऐसे में आपको इन समस्याओं के बारे में पहले से ही अंदाजा लगाकर रखना चाहिए। साथ ही समस्या आने पर उसे किस तरह से संभालना है जिसका भी इंतजाम रखना चाहिए। लेकिन हर समस्या का अंदाजा पहले से नहीं लगाया जा सकता है। ऐसे में अपने दिमाग को इस तरह से प्रशिक्षित करना चाहिए कि वह हर तरह की समस्या को ठंडा होकर सोच सके।

जब समस्या सामने आ ही जाए तो आपको उसे हल करने के बारे में सोचना चाहिए। साथ ही इस बात का ध्यान भी रखना चाहिए कि यह समस्या क्यों आई? क्या इसे टाला जा सकता था? भविष्य में ऐसी समस्या सामने न आए उसके लिए हमें क्या करना चाहिए? आदि। इन सवालों के जवाब मिलने पर आप उस समस्या के दौर में भी कुछ नया सीखेंगे और भविष्य के लिए तैयार होंगे।
इसलिए जब भी आपके सामने कोई समस्या या चुनौती आए तो उस पर ठंडे दिमाग से विचार करें ताकि उस समस्या या चुनौती को हल करने के समय हम कुछ न कुछ सीख सकें और उसे समस्या को अवसर में बदल लें।






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