Success Story: कहा जाता है कि अगर कुछ कर गुजरने की चाहत हो तो कोई भी लक्ष्य नामुमकिन नहीं होता। ऐसी ही कुछ कहानी है IAS एनीस कनमनी जॉय की। एनीस एक बेहद साधारण परिवार से आती हैं। उनका जन्म केरल के पिरवोम जिले के एक गांव पंपाकुड़ा में हुआ था। उनके पिता एक किसान थे जो धान की खेती करते हैं। उनकी मां भी पिता के साथ खेतों में हाथ बटाती थीं।

एनीस ने 10वीं की पढ़ाई परवोम जिले के एक स्कूल से की उसके बाद वे एर्नाकुलम आ गईं। MBBS मे एडमिशन के लिए उन्होंने 12वीं में कड़ी मेहनत की परंतु खराब रैंक आने के कारण उन्हें एडमिशन नहीं मिल सका। इसके बाद उन्होंने त्रिवेंद्रम गवर्मेंट मेडिकल कॉलेज से नर्सिंग में BSc की पढ़ाई पूरी की। MBBS में दाखिला न मिलने के कारण निराश एनीस ने नर्सिंग की पढ़ाई पूरे मन से की।

एक रेल यात्रा के दौरान एक महिला सहयात्री द्वारा उन्हें UPSC के बारे में पता चला जिसके बाद उन्होंने UPSC को अपना लक्ष्य बना लिया। परंतु एनीस के आर्थिक हालात ठीक नहीं थे, इसलिए वे IAS की कोचिंग नहीं कर पाईं और उन्होंने सेल्फ स्टडी प्रारंभ कर दी। करंट अफेयर्स से अपडेट रहने के लिए वे अखबार का सहारा लेती थीं।

2010 में एनीस UPSC की परीक्षा में पहली बार बैठीं। इस परीक्षा में उन्हें 580 रैंक मिली मगर वे इस रैंक से संतुष्ट नहीं थी। इसके बाद सिविल सेवा परीक्षा 2011 में उन्होंने 65वीं रैंक प्राप्त कर IAS बनने का अपना सपना पूरा किया। वे अपनी सफलता का श्रेय अपने पिता जी को देती हैं। पिता ने गरीबी के बावजूद अपनी बेटी के सपनों को पूरा करने में हर संभव सहयोग दिया।



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