डॉ. संजय सिंह बघेल (शिक्षक, दिल्ली विश्वविद्यालय)
ऐसे युवा जिनमें जोश, साहस है और चुनौतियों का सामना करना चाहते है। उनके लिए रक्षा क्षेत्र से बेहतर विकल्प कोई हो ही नहीं सकता। कैप्टन अभिनंदन को कौन आज नहीं जानता जो पाकिस्तान की धरती पर उसी का विमान गिराकर गर्व से भारत वापस आ गए और हमारे देश के गौरव का इतिहास बन गया। कहने का तात्पर्य यह की रक्षा क्षेत्र या सेना उन युवाओं के लिए एक ऐसा अवसर प्रदान करती है। जिसमें न केवल जोश होता है बल्कि ऐसा जुनून भी होता है जो देश की आन, बान और शान के लिए कुछ भी कर सकते है।
रक्षा क्षेत्र को देश में सबसे प्रतिष्ठित एवं सम्मानित करिअर में से एक माना जाता है। पेशेवर सेवाएं देने वाला भारतीय सशस्त्र बल समान रूप से भारत का एक ऐसा सैन्य बल है जिसके अंतर्गत भारतीय सेना, वायुसेना, नौसेना और भारतीय तटरक्षक बल आते हैं।
भारतीय सेना का मुख्य उद्देश्य देश को बाहरी खतरों और हमलों से बचाकर राष्ट्रीय शांति और सुरक्षा बनाए रखना है। इसकी सात कामांड हैं- पूर्वी, पश्चिमी, उत्तरी, मध्य, दक्षिणी, दक्षिण-पश्चिमी, प्रशिक्षण कमान। इस तरह, यह दुनिया की सबसे बड़ी सशस्त्र बलों में से एक है। भारतीय सेना में 12 लाख से अधिक लोग कार्यरत हैं। यह नवीनतम आयुधों के साथ-साथ कई प्रकार के टैंक, स्व-चालित बंदूकें, बख्तरबंद लड़ाकू वाहन, तोपखाने और कई रॉकेट लॉन्च उपकरणों से लैस है।
भारतीय रक्षा बल सेवा, देशभक्ति एवं देश की मिश्रित संस्कृति के आदर्शों का प्रतीक और पर्याय है। इसमें भारत के सभी नागरिक, चाहे वो किसी भी जाति, वर्ग, धर्म एवं समुदाय के हों, आवेदन कर सकते हैं बशर्ते कि वे शारीरिक, चिकित्सीय एवं शैक्षिक मानदंडों को पूरा करते हों। भारतीय सेना में करिअर के अवसर कई क्षेत्रों में है।
थल सेना : जो सेना जमीनी स्तर पर सुरक्षा का काम करती है। इसे लड़ाकू इकाई के रूप में भी जाना जाता है।
वायु सेना : हवाई रक्षा की जिम्मेदारी जिस सेना के पास होती है। उसको इसमें शामिल किया जाता है। विंग कमांडर अभिनंदन भी इसी सेना का हिस्सा थे।
नौसेना : समुद्री खतरों से मिलने वाली चुनौतियों की जो चौकसी करता हो। उसे इस सेना का हिस्सा माना जाता है। इसके अलावा भी आर्मी में कई तरह के विभाग काम करते है। जो इस रक्षा सेना के ही भाग होते है:
इंजीनियरिंग और आइटी इकाई : रक्षा उपकरणों के रखरखाव और साइबर सुरक्षा की जिम्मेदारी इस विभाग के अंतर्गत होती है।
सेना सेवा कोर और शिक्षा : सेना में यह विभाग अलग से होता है। जिसका काम प्रशिक्षण और शिक्षा देना होता है। भारतीय रक्षा सेवा में यदि कोई भी युवा प्रवेश करना चाहता है तो कुछ महत्त्वपूर्ण तथ्यों को ध्यान में रखना जरूरी है। जो इस प्रकार है:-
एक छात्र जो स्नातक स्तर की पढ़ाई के अंतिम वर्ष में है वह भी सीडीएस की परीक्षा दे सकता है। लेकिन ध्यान रहे यह परीक्षा वर्ष में दो बार आयोजित की जाती हैं।
– एनडीए केवल अविवाहित पुरुष के उम्मीदवारों के लिए ही मान्य होता है।
-एनडीए के लिए आयु सीमा 16.5 वर्ष से 19 वर्ष है।
-आवेदन करने के लिए भारत या नेपाल / भूटान / तिब्बत शरणार्थी का नागरिक होना आवश्यक है।
-स्नातक स्तर की पढ़ाई के बाद प्रवेश के लिए आयु सीमा 20-26 साल मात्र ही है।
-स्नातक में न्यूनतम 60 फीसद कुल की जरूरत है।
-शैक्षिक मानदंडों के अलावा, भारतीय सेना द्वारा निर्धारित भौतिक और साथ ही चिकित्सा मानकों को भी पूरा किया जाना आवश्यक है।
कई स्तरों पर होती है परीक्षा
राष्ट्रीय रक्षा अकादमी (एनडीए): जो छात्र किसी भी मान्यता प्राप्त संस्थान से 10+2 के साथ परीक्षा पास कर चुके है वे इस परीक्षा का में बैठ सकते है।
सम्मिलित रक्षा सेवा परीक्षा (सीडीएस): इस परीक्षा का आयोजन संघ लोक सेवा आयोग द्वारा वर्ष में दो बार किया जाता है। इस परीक्षा के माध्यम से भारतीय सैन्य अकादमी, अधिकारी प्रशिक्षण अकादमी, भारतीय नौसेना अकादमी, तथा भारतीय वायु सेना अकादमी में अधिकारियों की भर्ती की जाती है। इसके लिए भी न्यूनतम योग्यता किसी भी मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालय की डिग्री के साथ 10+2 में गणित और भौतिकी विषय होने चाहिए या फिर इंजीनियरिंग की डिग्री होनी चाहिए।
राष्ट्रीय कैडेट कोर (एनसीसी): जो छात्र किसी भी क्षेत्र में कक्षा 12वीं पास कर चुके है और और किसी भी अनुशासन में स्कूल एनसीसी प्रविष्टि में स्नातक में एनसीसी सोसायटी का हिस्सा बने है और सी प्रमाणपत्र प्रमाणपत्र प्राप्त किया है। उन्हें सीडीएस परीक्षा पास करने के बाद विशिष्ठ वरीयता देकर सेना में ले लिया जाता है।
तकनीक और इंजीनियरिंग: जिन छात्रों ने बारहवीं विज्ञान स्ट्रीम (गणित और भौतिकी) में बीटेक या बीई (पूर्व-अंतिम वर्ष) में स्नातक की उपाधि प्राप्त की है वे अपनी इस तकनीकी योग्यता के माध्यम से भारतीय सेना में दाखिला ले सकते है।
इसके अलावा भी भारतीय रक्षा सेना में कई तरह की नौकरियां होती है, जैसे की प्राध्यापक, डॉक्टर और सिविलियन की। जिसकी परीक्षाएं प्राय: संघ लोक सेवा आयोग आयोजित करता है। जिसको पास करके आप भारत सरकार के इस महत्त्वपूर्ण विभाग का हिस्सा बन सकते है।
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