दिल्ली विश्वविद्यालय (डीयू) में दाखिला सत्र शुरू हो चुका है, लेकिन चारों तरफ सन्नाटा पसरा है। डीयू के इतिहास में परिसर का ऐसा नजारा पहले कभी नहीं दिखा। सब कुछ आनलाइन है लिहाजा कहीं कोई छात्र सहायता शिविर नहीं लगा है। शायद छात्र संगठनों ने मान लिया है कि हर साल यहां दाखिला लेने के इच्छुक करीब दो लाख से ज्यादा छात्रों में से किसी को इस साल उनकी सहायता की दरकार नहीं है। लेकिन सच्चाई इससे उलट है।

छात्रों से आवेदन से जुड़ी कई गलतियां हो रही हैं। बहरहाल, विश्वविद्यालय प्रशासन ने इसे समझा है और आवेदन के समय हो गई तकनीकी भूल को सुधारने का मौका देने का फैसला भी किया है। मसलन अगर छात्र दस्तावेजों की जानकारी फार्म में दे रखी है। लेकिन भूल वस कोई दस्ताबेज अपलोड न हो सका तो भी उसे दाखिला मिलेग। उसे सत्यापन के समय अपनी गलती ठीक कर लेनी होगी।

दिल्ली विश्वविद्यालय में छात्र दाखिले के आवेदन में जल्दीबाजी में कई गलतियां कर रहे हैं। मसलन हड़बड़ी में कई छात्र बिना सभी चरण पूरा किए और अपनी कटआफ चेक किए सीधे पोर्टल से आवेदन करने चले गए। कई लोगों को इसकी जानकारी नहीं होने के कारण उन लोगों ने अपनी शिकायत विश्वविद्यालय से कर रहे हैं।

इस बाबत विश्वविद्यालय ने छात्रों से अपील की है कि पहले वे विश्वविद्यालय के वेबसाइट पर जाकर वहां जारी निर्देश अवश्य पढ़ें। दस बजे से पहले आवेदन न करें आदि। यदि आपके द्वारा अपलोड किया गया फार्म संतोषजनक होगा तभी आवेदन स्वीकृत होंगे। बता दें कि दिल्ली विश्वविद्यालय ने शनिवार को पहली कटआफ लिस्ट जारी कर दी है।

उसे इस साल 65 कॉलेजों की 70,000 सीटों पर छात्रों को विभिन्न स्नातक पाठ्यक्रमों में दाखिला देना है। दाखिले की पूरी तरह से आनलाइन है पहली कटआफ के तहत 16 अक्तूबर से दाखिले होंगे। पहली कटआफ में लेडी श्रीराम कॉलेज में 100 फीसद गया है। यहां राजनीति विज्ञान, अर्थशास्त्र और मनोविज्ञान में 100 फीसद कटआफ घोषित हुआ।

प्रवेश संबंधी शिकायतों के समाधान के लिए आम आदमी पार्टी के शिक्षक संगठन दिल्ली टीचर्स एसोसिएशन (डीटीए) और छात्र संगठन इकाई सीवाइएसएस ने कमेटी गठित की है। कमेटी में दिल्ली विश्वविद्यालय के वरिष्ठ प्रोफेसर, कर्मचारी और छात्रों को रखा गया है। डीटीए के संयोजक हंसराज सुमन ने कहा कि छात्रों और उनके अभिभावकों से अपील है कि घर में रहकर ही प्रवेश संबंधी फॉर्म भरें। साथ ही दाखिले के दौरान किसी तरह के सुझाव व सहायता के लिए 9810584409, 9810119138, 9873709394, 9873898728, पर संपर्क कर सकते हैं।

छात्र संगठनों ने जारी किए हेल्पलाइन नंबर
दाखिला सत्र में हर साल आगंतुक छात्रों के लिए विश्वविद्यालय प्रशासन और छात्र संगठनों की ओर से स्वागत पोस्टर लगे रहते थे। इस बार न केवल सन्नाटा है बल्कि कालेजों के गेट पर परिसर न आने की मनाही वाले पोस्टर लगे हैं। जिस पर कैंपस न आएं, दाखिले के लिए कॉलेज न आएं, दाखिला केवल आनलाइन हैं…जैसे स्लोगन लिखे हुए हैं।

अखिल भारतीय विद्यार्थी और एनएसयूआइ दोनों ने आनलाइन फोन नंबर जारी किए हैं जहां से छात्र या अभिभावक कुछ जानकारी ले सकते हैं। अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद ने छात्र समस्याओं के कॉलेजों के हिसाब से इलाके को 8 भागों में बांट कर हर विभाग के लिए 2 हेल्पलाइन नंबर जारी किए हैं। उसी प्रकार एनएसयूआइ ने भी अपने नेताओं के नाम के साथ करीब आधा दर्जन फोन नंबर जारी किए हैं।

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